दिल्ली महिलाओं के लिए असुरक्षित है, खुद दिल्ली की मुख्यमंत्री
शीला दीक्षित ने इस बात को आधिकारिक तौर पर माना है, लेकिन अब दिल्ली की
महिला निगम पार्षदों ने सदन में खुद के साथ छेड़छाड़ होने का संगीन आरोप
लगा कर सभी को चौंका दिया है। इन महिला निगम पार्षदों ने उपराज्यपाल को
पत्र लिखकर शिकायत की है कि उनसे कोई और नहीं बल्कि उनके पुरूष निगम पार्षद
छेड़छाड़ करते हैं और वो भी सदन में।
लेकिन अब महिला पार्षदों ने सदन में होने वाली ऐसी छेड़छाड़ और पुरुष पार्षदों की बदतमीजियों के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। महिला पार्षदों ने इन घटनाओं के खिलाफ दिल्ली के उप राज्यपाल तेजिंदर खन्ना को चिठ्ठी लिखी है। उपराज्यपाल से इस मामले को गंभीरता से लेते हुए छेड़खानी करनेवाले पार्षदों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने की मांग की है।
उपराज्यपाल को लिखी चिट्ठी में महिला पार्षदों ने शिकायत की है कि बैठक हो या कोई सार्वजनिक स्थान उनके साथ छेड़छाड़ और दुर्व्यवहार एक नियमित घटना बन चुकी है। पुरुष पार्षद जानबूझकर हमारी भावनाओं को ठेस पहुंचाने के लिए अपमानजनक भाषा का इस्तेमाल करते हैं। उपराज्यपाल को शिकायत करने वाली निगम पार्षदों में पूर्व मेयर रजनी अब्बी समेत दर्जनभर महिला निगम पार्षद शामिल हैं।
लेकिन अब महिला पार्षदों ने सदन में होने वाली ऐसी छेड़छाड़ और पुरुष पार्षदों की बदतमीजियों के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। महिला पार्षदों ने इन घटनाओं के खिलाफ दिल्ली के उप राज्यपाल तेजिंदर खन्ना को चिठ्ठी लिखी है। उपराज्यपाल से इस मामले को गंभीरता से लेते हुए छेड़खानी करनेवाले पार्षदों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने की मांग की है।
उपराज्यपाल को लिखी चिट्ठी में महिला पार्षदों ने शिकायत की है कि बैठक हो या कोई सार्वजनिक स्थान उनके साथ छेड़छाड़ और दुर्व्यवहार एक नियमित घटना बन चुकी है। पुरुष पार्षद जानबूझकर हमारी भावनाओं को ठेस पहुंचाने के लिए अपमानजनक भाषा का इस्तेमाल करते हैं। उपराज्यपाल को शिकायत करने वाली निगम पार्षदों में पूर्व मेयर रजनी अब्बी समेत दर्जनभर महिला निगम पार्षद शामिल हैं।
हालात
का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि इस मुद्दे को उत्तरी दिल्ली नगर
निगम की बैठक में न सिर्फ उठाया गया बल्कि सदन में इसे लेकर जमकर हंगामा भी
हुआ।
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