अमेरिकी रक्षा मंत्रालय पेंटागन ने पहली बार
दावे के साथ कहा है कि उत्तर कोरिया के पास परमाणु बम ले जाने में सक्षम
मिसाइल प्रक्षेपित करने की पूरी क्षमता मौजूद है। पेंटागन की डिफेंस
इंटेलीजेंस एजेंसी द्वारा तैयार की गई रिपोर्ट में यह बात कही गई। यह
रिपोर्ट गुरुवार को संसद की एक सुनवाई के दौरान पेश की गई। डीआईए एजेंट
गलती से इस पर गोपनीय सूचना का टैग लगाना भूल गए जिसके बाद इसे सांसदों के
सामने पेश कर दी गई।
अमेरिका
के संयुक्त सेना प्रमुख जनरल मार्टिन डेपसी ने कहा कि उन्होंने इस रिपोर्ट
का अध्ययन नहीं किया है लेकिन चूंकि सेना प्रशांत महासागर क्षेत्र में
मिसाइल रक्षा प्रणालियां स्थापित कर चुकी है। इसलिए वह उत्तर कोरिया की
परमाणु क्षमता को लेकर चिंतित नहीं हैं। दक्षिण कोरिया के रक्षा मंत्रालय
ने भी स्पष्ट किया है कि उन्हें कतई भरोसा नहीं है कि उत्तर कोरिया ने
परमाणु बम को मिसाइल पर लगाने की प्रक्रिया मिनिचेराईजेशन में सफलता हासिल
की है।
यह पहली बार है जब
अमेरिका ने उत्तर कोरिया की जमीनी स्थिति का आकलन करने वाली इस तरह की
रिपोर्ट सार्वजनिक की है। इसमें कहा गया है कि डीआईए का मानना है कि उत्तर
कोरिया के पास बैलास्टिक मिसाइलों द्वारा ले जाए जाने में सक्षम मिसाइल
मौजूद है। हालांकि वह कितने प्रभावी हैं इस बारे में कुछ कहा नहीं जा सकता।
अमेरिका और दक्षिण कोरिया ने इस रिपोर्ट के सार्वजनिक होने के बाद इसे
कमतर आंकने का प्रयास शुरु कर दिया है।
पेंटागन
के प्रवक्ता जार्ज लिटिल ने कहा कि यह कहना ठीक नहीं होगा कि उत्तर
कोरियाई सरकार ने अपने परमाणु हथियारों का परीक्षण पूरा कर लिया है। इस
रिपोर्ट के खिलाफ देश के दूसरे खुफिया अधिकारियों का स्वर भी मुखर होने
शुरु हो गए हैं। देश की नेशनल इंटेलीजेंस कांऊसिल एनआईसी के प्रमुख जेम्स
क्लैपर ने कहा कि वह डीआईए के आकलन से सहमत नहीं हैं।
मालूम हो कि डीआईए विदेशी
देशों की सेनाओं का आकलन करने का काम करती है। इस एजेंसी की साल 2003 में
इराक युद्ध के दौरान वहां जनसंहारक हथियारों की मौजूदगी का दावा करने के
लिए भी आलोचना हो चुकी है।
No comments:
Post a Comment