रेल टिकट रिजर्वेशन, कैन्सलेशन और
तत्काल में टिकट लेना आज से महंगा हो गया है। सरकार ने रेल बजट पेश करते
हुए इस बढ़ोतरी की घोषणा की थी। बीजेपी ने जहां इस बढोत्तरी के लिए सरकार
पर हमला किया है वहीं रेल यात्रियों ने भी इस जन विरोधी फैसले के लिए सरकार
को जिम्मेदार ठहराया है।
रेल
बजट में सरकार ने रेल किराया तो नहीं बढाया था लेकिन रिजर्वेशन चार्ज,
तत्काल टिकट और कैंसिलेशन चार्ज में इजाफे की घोषणा की थी। जिसे 1 अप्रैल
से लागू करने का ऐलान किया गया था। नई दरों के मुताबिक रिजर्व सेकेंड
सिटिंग क्लास का तत्काल टिकट 10 रूपए से लेकर 15 रूपए महंगा हो जाएगा।
स्लीपर क्लास में ये बढ़ोतरी 90 से 175 रूपए होगी। सभी एसी और एग्जीक्यूटिव
क्लास भी महंगे हो गए हैं। कैंसिलेशन चार्ज भी महंगा हो गया है।
सेकेंड क्लास में टिकट कैन्सल करने पर अब 20
की जगह 30 रुपए कटेगा। जबकि स्लीपर में 30 और 40 की बजाय 60 रूपए कटेगा।
वेटिंग और आरएसी के टिकट कैन्सल कराने पर अब 15 और 30 रूपए देने होंगे।
सेकेंड और स्लीपर क्लास में आरक्षण शुल्क में कोई बढ़ोतरी नहीं की गई है
लेकिन बाकी श्रेणियों में इसमें इजाफा किया गया है, लेकिन सभी श्रेणियों के
सरचार्ज में इजाफा किया गया है। सेकेंड और स्लीपर क्लास में यह शुल्क
मौजूदा 10 और 20 रूपए से बढ़ाकर 15 और 30 रूपए कर दिया गया है।
वहीं
बीजेपी को एक बार फिर सरकार पर हमला करने का मौका मिल गया है।रेल बजट में
ये भी घोषणा की गई थी कि डीजल के दामों में लगातार हो रही बढ़ोतरी को देखते
हुए फ्यूल रेगुरेटरी कमेटी बनाई जाएगी। ये कमेटी डीजल के बढ़ते दाम के
मद्देनजर समय समय पर रेल किराए को बढ़ाने की सिफारिश करेगी। कहा जा रहा है
कि इस साल अक्टूबर तक ये कमेटी अपनी पहली रिपोर्ट दे सकती है। यानी रेल
यात्रियों और मालभाड़ा दोनों बढ़ने की पूरी संभावना है।
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