Friday, July 19, 2013

मोदी का दावे पर हिचक क्यों रहे हैं उद्धव ठाकरे?

गुजरात के मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी की पीएम उम्मीदवारी पर शिवसेना ने सवाल उठा दिया है। शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे के मुताबिक एनडीए में प्रधानमंत्री पद के लिए कई विश्वसनीय चेहरे हैं। इशारा साफ है कि शिवसेना फिलहाल एनडीए के पीएम उम्मीदवार पर अपने पत्ते नहीं खोलना चाहती। उधर बीजेपी इस नई मुसीबत पर कुछ भी बोलने से बच रही है।
शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे ने शुक्रवार को कहा कि देश का नेतृत्व करने के लिए कोई भरोसेमंद चेहरा नजर नहीं आ रहा। क्या मोदी भरोसेमंद चेहरा नहीं हैं, ये सवाल बार-बार पूछने पर भी उद्धव ने सीधा जवाब नहीं दिया। उद्धव ठाकरे ने कहा कि चेहरे बहुत हैं हमारे पास। मैं और राजनाथ जी साथ हैं। आपको भरोसेमंद चेहरे और सरकार देंगे, क्यों आप अधीर हो रहे हैं। धैर्य रखिए।
शिव सेना प्रमुख की इस टिप्पणी को नरेंद्र मोदी के लिए बड़ा धक्का माना जा रहा है। साफ है कि वो मोदी को अगले लोकसभा चुनाव में एनडीए की ओर से प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार घोषित करने की संभावना को लेकर खास उत्साहित नहीं हैं। मोदी को एनडीए का प्रधानमंत्री उम्मीदवार बनाने को लेकर शिव सेना जब तब आपत्ति जताती आई है।
बाल ठाकरे ने भी कहा था कि सुषमा स्वराज प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार बनाए जाने के लिए सबसे उपयुक्त हैं।
उद्धव ने शुक्रवार को बीजेपी नेता लालकृष्ण आडवाणी के साथ भी घंटे भर की मुलाकात की। गौरतलब है कि पिछले दिनों आडवाणी ने मोदी की प्रधानमंत्री के तौर पर उम्मीदवारी का खुला विरोध किया था। इस पूरे घटनाक्रम पर बीजेपी मुंह खोलना नहीं चाहती। पार्टी महासचिव अनंत कुमार शाम को प्रेसवार्ता में सामने आए तो कहा कि मैं यहां कमेटियों के बारे में बताने आया हूं। दूसरे मुद्दे पर नहीं बोलूंगा।
दरअसल बीजेपी को हिंदुत्व के मुद्दे पर कायम रहने की नसीहत दे चुकी शिवसेना के कुछ सरोकार हैं। शिवसेना को लगता है कि मोदी के नाम पर मुहर लगाना, हिंदुत्व की अपनी जमीन पर कुदाल चलाने जैसा होगा। मोदी की महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना के प्रमुख राज ठाकरे से नजदीकियां हैं और उद्धव की राज ठाकरे से दूरियां जगजाहिर हैं। हालांकि उद्धव ने ये साफ कहा है कि शिवसेना बीजेपी के साथ मिलकर ही प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार तय करेगी। लेकिन उनके रुख ने मोदी की स्वीकार्यता पर नया सवाल खडा कर दिया है।

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